बायतु | देश की रक्षा के लिए अपने प्राण न्योछावर करने वाले वीर शहीद हनुमान राम कड़वासरा की पार्थिव देह जब उनके गांव पहुंची, तो पूरे इलाके में मातम छा गया। गांव के हर व्यक्ति की आंखें नम थीं, लेकिन सबसे दर्दनाक दृश्य उनके परिवार के सदस्यों का था। शहीद हनुमान राम की पत्नी, जो अपने पति की अंतिम यात्रा के लिए खुद को संभालने की कोशिश कर रही थीं, पार्थिव शरीर को देखकर बेहोश हो गईं। उन्हें डॉक्टरों की सहायता से तुरंत संभाला गया। उनकी हालत देखकर वहां मौजूद हर व्यक्ति का दिल द्रवित हो गया। हनुमान राम का बेटा, जो अभी छोटी उम्र का है, पिता की अंतिम यात्रा में फूट-फूटकर रोता नजर आया। पिता का तिरंगे में लिपटा शव देखकर वह बार-बार पिता को पुकारता रहा, लेकिन उसकी मासूम आवाज सुनने वाला अब कोई नहीं था। वहां मौजूद हर व्यक्ति उस मासूम की वेदना को देखकर आंसू नहीं रोक सका। इकलौती बहन, जो अपने भाई के लिए बहुत लगाव रखती थी, की हालत और भी खराब थी। वह बार-बार अपने भाई की यादें और बातें दोहराती रही और आंसू थमने का नाम ही नहीं ले रहे थे। भाई के जाने के दर्द ने उसे तोड़कर रख दिया। गांव में शहीद को श्रद्धांजलि देने के लिए लोगों की भारी भीड़ उमड़ी। हर किसी ने नम आंखों से शहीद को अंतिम विदाई दी। ग्रामीणों ने इस घटना को लेकर गर्व और दुख दोनों भावनाएं व्यक्त कीं। हनुमान राम कड़वासरा की शहादत से उनका परिवार टूट चुका है, लेकिन उनकी वीरता और बलिदान ने पूरे देश का सिर गर्व से ऊंचा कर दिया है। उनका परिवार और गांववाले अब सिर्फ एक ही बात कह रहे हैं कि उनका बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा, और उनकी वीरता हमेशा याद की जाएगी।
शहीद पति की पार्थिव देह देखकर पत्नी की बिगड़ी तबियत, बिलख पड़ा बेटा, इकलौती बहन के नहीं रुके आंसू
