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राजस्थान के बाड़मेर जिले में उस समय एक दिलचस्प वाकया देखने को मिला जब एक फरियादी ने जिला कलेक्टर टीना डाबी से अपनी समस्या का अनोखा समाधान मांग लिया। फरियादी ने कलेक्टर से हेलीकॉप्टर की मांग की, जिससे वह अपने घर आ-जा सके। उसकी इस अजीबोगरीब फरियाद को सुनकर मौके पर मौजूद सभी अधिकारी हैरान रह गए। हालांकि, इसके पीछे छिपी गंभीर समस्या को जानकर कलेक्टर ने त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए।
क्या है पूरा मामला? यह मामला बाड़मेर जिले के सेड़वा उपखंड में आयोजित रात्रि चौपाल का है, जहां ग्रामीण अपनी समस्याएं लेकर पहुंचे थे। इसी दौरान जोरापुरा गांव निवासी मांगीलाल नामक व्यक्ति अपनी फरियाद लेकर कलेक्टर टीना डाबी के पास पहुंचा। उसने कहा, “मैडम, मेरे घर तक जाने के लिए रास्ता नहीं है। रास्ते पर अतिक्रमण हो गया है। अगर कोई बीमार हो जाए, तो उसे अस्पताल तक ले जाने के लिए कोई साधन नहीं है। गाड़ी नहीं जा सकती, इसलिए चारपाई पर उठाकर लाना पड़ता है। ऐसे में, मेरे आने-जाने के लिए **एक हेलीकॉप्टर की व्यवस्था करवा दीजिए।” फरियादी की यह बात सुनकर पहले तो मौके पर मौजूद अधिकारी चौंक गए, लेकिन जब उसकी पूरी समस्या सुनी गई, तो मामला गंभीर निकला।
घर तक जाने का रास्ता बंद, पीटीआई पर अतिक्रमण का आरोप फरियादी मांगीलाल के अनुसार, उसके घर तक जाने वाले रास्ते पर पीटीआई (शारीरिक शिक्षक) खेराजराम ने अवैध रूप से कब्जा कर लिया है। उन्होंने सार्वजनिक रास्ते की जमीन पर जीरा की फसल बो दी है, जिससे घर तक आने-जाने का रास्ता पूरी तरह बंद हो गया है।
फरीयादी मांगीलाल ने बताया कि इस अतिक्रमण के कारण,
– वह अपने खेतों तक नहीं पहुंच पा रहा है।
– अगर घर में कोई बीमार हो जाए, तो उसे अस्पताल ले जाने में भारी दिक्कत होती है।
– गाड़ी जाने की जगह नहीं होने से मरीज को चारपाई पर उठाकर ले जाना पड़ता है। इससे तंग आकर मांगीलाल ने मजाकिया लहजे में कलेक्टर से हेलीकॉप्टर की मांग कर डाली।
टीना डाबी ने दिए त्वरित कार्रवाई के आदेश जिला कलेक्टर टीना डाबी, जो अपनी त्वरित कार्रवाई और जनसमस्याओं के शीघ्र निस्तारण के लिए जानी जाती हैं, ने इस मामले को गंभीरता से लिया। उन्होंने एसडीएम को पूरे मामले की जांच के निर्देश दिए और शिक्षा विभाग को पीटीआई को पाबंद करने के आदेश भी दिए। कलेक्टर ने आश्वासन दिया कि 7-8 दिनों के भीतर अवैध अतिक्रमण हटवाकर रास्ता साफ किया जाएगा, जिससे पीड़ित को राहत मिल सके।
समाज में अतिक्रमण की बढ़ती समस्या यह घटना सिर्फ एक व्यक्ति की नहीं, बल्कि पूरे समाज के लिए एक गंभीर संदेश है। आए दिन सार्वजनिक रास्तों, सरकारी जमीनों और जल स्रोतों पर अतिक्रमण की घटनाएं सामने आती हैं, जिससे आम नागरिकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। बाड़मेर का यह मामला दिखाता है कि कैसे प्रशासनिक उदासीनता और निजी स्वार्थ के कारण आम लोगों को मूलभूत सुविधाओं के लिए भी संघर्ष करना पड़ता है।
इस खबर से हम इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि मांगीलाल का हेलीकॉप्टर मांगने का अनोखा तरीका भले ही मजाकिया लगा हो, लेकिन इसके पीछे एक गंभीर समस्या छिपी थी। कलेक्टर टीना डाबी ने त्वरित कार्रवाई के निर्देश देकर यह साबित किया कि प्रशासन जनता की समस्याओं को गंभीरता से लेता है। अब देखना यह होगा कि **क्या वाकई प्रशासन 7-8 दिनों में अतिक्रमण हटाकर पीड़ित को उसका अधिकार दिला पाएगा या नहीं? यह मामला एक बार फिर प्रशासनिक तंत्र और न्याय प्रणाली की परीक्षा की घड़ी बन गया है।